क्या है स्वप्न दोष?इसके प्रभाब और कारण क्या है?

 क्या है स्वप्न दोष?इसके प्रभाब और कारण क्या है?

स्वप्न दोष जिसे नाईट फल या बेड ड्रीम्स भी कहा जाता है एक सामान्य शारीरिक प्रक्रिया है जिसमे पुरुस या कभी कभी माहि लाये नींद के दोरान अनायास बिर्य पात का अनुभब करते है.यह आम तर पर किसोर बस्ता और युबा अबस्था मैं होता है,जब सरीर योन हरमोंन  के प्रभाब मैं होता है.यह प्रक्रिया किसी योन क्रिया से जुडी नहीं होती,बल्कि यह सरीर के अन्दर अतिरिक्त बिर्य  को बहार निकल ने का स्वभाबिक तरीका है.

हलाकि,स्वप्न दोष को अक्सर गलत फहमी और सर्मंदगी से जोड़ा जाता है.अधिक तर मामलो मैं यह बार-बार हो या इसे ब्यक्ति को सरीरी और मानसिक परेशानी हो,तो इसे नियंत्रित करने की आबश्यकता हो सकती है. आईये स्वप्न दोष का कारन,प्रभाब और इसके समाधान पर गह राइ से चर्चा  करे.

स्वप्न दोष के करण 

स्वप्न दोष के कई कारन हो सकते है,जो सरीरी और मानसिक दोनों पहलुओं से जुड़े होते है.यह इन कारणों को बिस्तार से समझा गया है.

1.अश्लील सामग्री का प्रभाब-अश्लील विडियो, चित्र  या कहानियों के संपर्क मैं रहना मस्तिक को ये  रूप से उत्तजित कर सकता है.ये बिचार नींद के दोरान भी मस्तिक को सक्रिय रखते है.जिसे स्वप्न दोष हो सकता है.

2.योन बिचार और कल्पनाये-दिन भर मैं योन संबंधिय बिचारो मैं डूबे रहना और योन कल्पनाये करना मस्तिक को उत्तेजित करता है.यह नींद के दोरान भी जारी रह सकता है और स्वप्न दोष का कारन बन सकता  है.

3.हरर्मोन परिबर्तन-किसोर बस्ता मैं टेस्टोंटोरोने और अन्य योन हर्मोने स्तर बढ़ता है.यह हार्मोनल बदलाब सरीर को योन रूप से सक्रिय बनाते है,जिसे स्वप्न दोष का अनुभब हो सकता है.यह एक समान्य प्रक्रिया है और बिकाश का हिस्सा है.

4.सरीरी बिर्य का संचय-जब सरीर मैं अतिरिक्त बिर्य जमा हो जाता है और इसे बहार निकल ने का कोई प्राकृतिक तरीका नहीं होता,तो यहाँ नींद के दोरान स्वप्ना दोष के रूप मैं बहार आ सकता है.

5.अनियमित जीबन सैली और तनाब-ख़राब दिन चर्या,नींद की कमी और मानसिक तनाब सरीर को समान्य कार्य को प्रभाबित कर सकते है.इससे मस्तिक अनाबश्यक उत्तेजना पैदा करता है,जो स्वप्न दोष का कारन बन सकता है.

6.शारीरिक कमजोरी और पोसण की कमी-यदि  सरीर कम जोर है और उससे आबस्यक पोसण नहीं मिल रहा है,तो यह स्वप्न दोष को बढाबा दे सकता है.

स्वप्न दोष के प्रभाब

स्वप्न दोष का प्रभाब हर ब्यक्ति को अलग -अलग हो सकता है.इससे मुक्ष्य रूप से दो हिस्सों मैं बिभा जित किया जा सकता है 

सकारात्मक प्रभाब-

1.यह सरीर के अतिरिक्त बिर्य को बाहार निकल ने का एक स्वभाबिक तरीका है.

2.यह योन अंगो  के सही कार्य को सुनिश्चित करता है 

3.शारीरिक और योन स्वस्त का संकेत हो सकता है.

नकारात्मक प्रभाब अगर बार बार हो

1.मानसिक तनाब-यह सर्मंदगी और आत्मा बिस्वास की कमी का कारन बन सकता है.

2.शारीरिक कमजोरी-बार-बार होने बाले स्वप्न दोष से सरीर का थका हुआ महसूस कर सकता है.

3.सामाजिक प्रभाब-इसे लेकर समाज मैं फैली गलत धारा नए ब्यक्ति के आत्मा सम्मान को प्रभाबित कर सकती है.

4.ध्यान मैं कमी- बार-बार स्वप्न दोष से नींद मैं बाधा उत्प्परन हो सकती है.जिसे दिन भर थका बट  और ध्यान की कमी हो सकती है.

स्वप्न दोष से बचने के उपाय-स्वप्न दोष को नियंत्रित करने और इसे बचने के लिए निम्न लिखित उपाय अपनाये जा सकते है.

नियमित बयाम और योग-

योगासन-भूंजगासन ,सलभासन ,और घनुरासन स्वप्न दोष को नियंत्रित करने मैं सहायक होते है.

प्राणायाम-अनुलोम-बिलोंम और कपाल  भाती जैसे प्राणायाम तनाब को कम करते है.

नियमित दौड़ और वाल्कइंग से सरीर के अतिरिक्त उर्जा का उपयोग होता है.

संतुलित आहार का सेबन-

ताजे फल हरी सब्जियां और प्रोटीन युक्त आहार ले

तले भुने और मसालेदार खाने से बचे 

सूखे मैबे जैसे बादाम,अखरोट और किसमिस का सेबन करे

दूध और सहद का नियमित सेबन सरीर को पासणऔर मानसिक शांति प्रदान करता है.

ध्यान और मानसिक शांति-

ध्यान करने से मन शांत रहता है और आबश्यक योन बिचारो को नियंत्रित किया जा सकता है.

सोने से पहेले 10 से 15 मिनट का ध्यान अभ्यास अनिद्रा और तनाब को कम करता है.

अश्लील सामग्री से बचाब-

अश्लील विडियो और चित्र और अस्लिल बाते  सुनने से बी दुरी बनाये 

अछे और प्रेरणा दायक साहित्य पढने की आदत डाले.


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